मुंबई। जिंदल स्टील वक्र्स समूह के चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक सज्जन जिंदल ने कहा कि भारत को दुनिया का विनिर्माण केंद्र बनाने के लिए विनिर्माण की लागत को कम किया जाना चाहिए जिसमें ब्याज या पूंजी की लागत शामिल है।
भारतीय उद्योग परिसंघ सीआईआई द्वारा आयोजित सीआईआई विनिर्माण सम्मेलन को संबोधित करते हुए जिंदल ने कहा, ‘‘इस समय महंगाई दर कम है और बैंकों में नकदी बढ़ी है। इससे ब्याज दरें कम होने की संभावना है। विनिर्माताओं को कम लागत की पूंजी की जरूरत है जिसस वह प्रतिस्पर्धी बन सकें। हमें पहले इस समस्या को ठीक करना होगा।’’
उन्होंने ब्याज दरों के जल्द नीचे आने की उम्मीद जताई।
जिंदल ने कहा कि विनिर्माण क्षेत्र कर सफलता के लिए विनिर्माताओं को शोध एवं विकासात्मक सहयोग पर जरूर ध्यान देना चाहिए और उच्च प्रतिस्पर्धा सुनिश्चित करने के लिए एक पारिस्थितिकी का निर्माण करना चाहिए।
सरकार के विनिर्माण क्षेत्र को अर्थव्यवस्था का 25 प्रतिशत हिस्सा बनाने के प्रयासों पर जिंदल ने कहा कि इसके लिए इस क्षेत्र को अगले छह-सात साल तक 12 प्रतिशत वार्षिक दर से वृद्धि करनी होगी।
उद्योग जगत पर नोटबंदी के असर पर जिंदल ने कहा कि लघु अवधि में कुछ समस्याएं हैं लेकिन देश को दीर्घावधि में फायदा होगा।
उन्होंन कहा, ‘‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समानांतर अर्थव्यवस्था को डिजिटल अर्थव्यस्था के रूप में तब्दील करने का एक कठिन कार्य कर रहे हैं। हमारे सामने चुनौतियां हैं लेकिन देशभर में संगठित क्षेत्र डिजिटल अर्थव्यवस्था की ओर रूख कर रहा है।’’