नई दिल्ली। संसद की एक समिति ने खामियों को समाप्त करने के लिए सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) के एंड टु एंड कंप्यूटरीकरण की 884 करोड़ रुपए की योजना के कमजोर क्रियान्वयन के लिए केंद्र और राज्य सरकारों की खिंचाई की है।
सभी राज्यों और संघ शासित प्रदेशों में टीडीपीएस परिचालन के कंप्यूटरीकरण की योजना तैयार की गई थी और सरकार ने इस योजना के ‘कंपोनेंट-एक’ को 12वीं पंचवर्षीय योजना के तहत 884.07 करोड़ रुपए व्यय के साथ मंजूरी दी थी।
संसद में पेश समिति की रिपोर्ट में कहा गया है कि इसमें केंद्र का हिस्सा 489.37 करोड़ रुपए जबकि राज्यों और संघ शसित प्रदेशों का कोष पूरी 12वीं योजना के लिए 394.7 करोड़ रुपए था।
खाद्य, उपभोक्ता मामलों तथा सार्वजनिक वितरण पर संसद की स्थाई समिति ने पीडीएस के कंप्यूटरीकरण पर अपनी रिपोर्ट में कहा कि कहा है कि इस योजना के तहत अभी तक वित्तीय प्रदर्शन संतोषजनक नहीं रहा है। जेसी दिवाकर रेड्डी इस समिति के चेयरपर्सन हैं।
समिति ने निष्कर्ष दिया है कि केंद्र के 489.37 करोड़ रुपए के हिस्से में से वित्त वर्ष 2012-13, 2013-14 तथा 2014-15 के लिए 31 मई, 2015 तक सिर्फ 261.51 करोड़ रुपए राज्यों को जारी किए गए थे।
रिपोर्ट में कहा गया है कि इस अवधि में कुल खर्च की गई राशि 56.49 करोड़ रुपए रही।