उज्जैन। केंद्र सरकार द्वारा 500-1000 रुपये के नोट को अमान्य किए जाने के बाद रिश्वत के रूप में नए नोटों की मांग होने लगी है। मध्यप्रदेश के उज्जैन में एक पटवारी को शुक्रवार को जमीन के दस्तावेज दुरुस्त करने के नाम पर नए नोट के तौर पर पांच रुपये की रिश्वत लेते हुए लोकायुक्त पुलिस ने रंगे हाथ पकड़ा। पटवारी के पास से दो-दो हजार और 100-100 के 10 नोट मिले। लोकायुक्त के निरीक्षक बसंत श्रीवास्तव ने बताया, महिदपुर के जवासिया सोलंकी गांव के किसान कमल खावरिया और उसके भाई तेजू लाल से सरकारी दस्तावेजों में जमीन का रिकार्ड दुरुस्त करने के एवज में पटवारी भेरु सिंह परमार ने 15 हजार की रिश्वत मांगी, पांच हजार की शुक्रवार को पहली किस्त देना तय हुआ।
पटवारी ने रिश्वत में 500-1000 के नोटों की बंदी के बाद नए नोट की मांग की। श्रीवास्तव के अनुसार, कमल ने पटवारी द्वारा रिश्वत मांगने की शिकायत लोकायुक्त से की और एक ऑडियो रिकार्डिग भी सौंपी, जिसमें नए नोट मांगने का जिक्र था। इस शिकायत के आधार पर लोकायुक्त ने शुक्रवार को इंदौर रोड पर मॉल के करीब चाय की दुकान पर पांच हजार की रिश्वत लेते हुए पकड़ा। पटवारी के पास से दो-दो हजार के दो और 100-100 के 10 नोट बरामद किए गए।
श्रीवास्तव के अनुसार, रिश्वत लेते हुए पकड़े गए पटवारी परमार के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर निजी मुचलके पर रिहा कर दिया गया। ज्ञात हो कि नोटबंदी के बाद राजधानी भोपाल के माध्यमिक शिक्षा मंडल में भी तीन कर्मचारियों को रिश्वत लेते हुए पकड़ा गया था और उनके पास से भी नए नोट बरामद किए गए थे।