पनडुब्बी बनाने संबंधी दीर्घावधि योजना की समीक्षा करे नौसेना : पर्रिकर

Samachar Jagat | Tuesday, 22 Nov 2016 02:53:30 PM
Navy submarine making a long-term plan review : Parrikar

नई दिल्ली। पनडुब्बियों के निर्माण में हो रही देरी के मद्देनजर रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर ने नौसेना से पनडुब्बी बनाने संबंधी अपनी दीर्घावधि योजना की समीक्षा करने को कहा है। पर्रिकर ने पनडुब्बी निर्माण की चुनौतियों के बारे में आज यहां एक सेमिनार में कहा कि नौसेना को पनडुब्बी बनाने संबंधी 30 वर्ष की अपनी योजना की समीक्षा करनी चाहिए। नौसेना की इस दौरान 24 पनडुब्बी बनाने की योजना है।

नौसेना की पनडुब्बी बनाने की परियोजनाएं निरंतर लंबी खिंचती जा रही हैं और वह निर्धारित लक्ष्यों को पूरा नहीं कर पा रही है। मौजूदा योजना को वर्ष 2030 के लक्ष्यों को ध्यान में रखकर बनाया गया था। रक्षा मंत्री ने कहा कि पिछले वर्षों में ब्रिटेन, रूस और अमेरिका जैसे देशों ने सैकड़ों पनडुब्बियों का निर्माण किया है जबकि भारत लक्ष्यों को पूरा नहीं कर पा रहा है।

उन्होंने कहा, भविष्य की परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए हमें अपनी जरूरतों के बारे में फिर से सोचने की जरूरत है। यह भी सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि इस दौरान विकसित कौशल को बरकरार रखा जाए और कुशल कर्मचारियों को काम मिले। इसके लिए और अधिक पनडुब्बी बनाये जाने की जरूरत है।

विदेशी मदद से देश में ही बनाई जाने वाली छह पनडुब्बियों से संबंधित प्रोजेक्ट 75-इंडिया के बारे में रक्षा मंत्री ने कहा कि सामरिक साझेदारी से जुड़े मॉडल को मंजूरी मिलते ही यह प्रोजेक्ट शुरू हो जाएगा। उन्होंने कहा कि सामरिक साझेदारी से जुड़ी नीति को मंजूरी मिल चुकी है और इससे संबंधित मसौदा अंतिम रूप से तैयार किया जा रहा है। नौसेना प्रमुख एडमिरल सुनील लांबा ने कहा कि पनडुब्बियों के देश में ही विकास के रास्ते में इनकी डिजाइन तैयार करना काफी बड़ी चुनौती है।



 

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