विशाखापट्टनम। राजकोट में पहला टेस्ट ड्रा कराने के बाद निराश भारतीय टीम के गेंदबाज स्पिन के लिये मददगार मानी जा रही विजाग की पिच पर मेहमान इंग्लैंड टीम के खिलाफ गुरूवार से शुरू होने जा रहे दूसरे क्रिकेट टेस्ट में खुद को साबित करने के इरादे से उतरेंगे।
भारत और इंग्लैंड के बीच पहला टेस्ट राजकोट में हुआ था जो पांच दिनों के खेल के बाद मेजबान टीम ड्रा कराने में सफल रही थी। लेकिन इस मैच में भारतीय स्पिनरों का प्रदर्शन निराशाजनक रहा था जिन्होंने न्यूजीलैंड के खिलाफ गत माह सीरीज 3-0 से क्लीन स्वीप कराने में अहम भूमिका निभाई थी। ड्रा हुये मैच से भारतीय कप्तान विराट कोहली भी काफी निराश दिखे और उन्होंने पहली बार टेस्ट का आयोजन कर रहे राजकोट की पिच पर टर्न नहीं होने को लेकर काफी आलोचना की थी।
मेजबान टीम अब अपना दूसरा मैच विजाग में खेलने जा रही है और यहां भी पहली बार टेस्ट मैच का आयोजन हो रहा है। ऐसे में टीम इस पिच के व्यवहार को लेकर भचतित दिख रही है और सभी की निगाहें पिच पर टिक गयी हैं। हालांकि क्यूरेटर कस्तूरी श्रीराम ने स्पष्ट किया है कि यहां घास नहीं होगी और यह पिच स्पिनरों के लिये मददगार साबित होगी।
भारतीय स्पिन तिकड़ी अनुभवी रविचंद्रन अश्विन, रवींद्र जडेजा और लेग स्पिनर अमित मिश्रा राजकोट में इंंग्लिश बल्लेबाजों के सामने नतमस्त दिखी थी और तीनों ने मैच में मिलकर नौ विकेट निकाले जबकि इंग्लैंड की स्पिन तिकड़ी मोइन अली, आदिल राशिद और जफर अंसारी ने उस मैच में कुल 13 विकेट निकाले थे और घरेलू खिलाड़यिों से बेहतर साबित हुई थी। ऐसे में भारतीय स्पिनरों पर निश्चित ही दबाव बढ़ गया है और यह भी सवाल खड़ा होने लगा है कि वे बिना टर्न वाली और घास वाली पिचों पर बहुत कारगर नहीं हैं।
बंगलादेश दौरे में निराशाजनक प्रदर्शन और टेस्ट हारने के बाद भारत आयी इंग्लैंड टीम बिना तैयारी और अभ्यास के नंबर वन टीम के खिलाफ उतरी थी और ऐसे में पहले ही मेजबान टीम का पलड़ा भारी माना जा रहा था लेकिन यह अति आत्मविश्वास भारतीय खिलाड़यिों को भारी पड़ा और इंग्लैंड ने पहली पारी में तीन शतकों सहित 537 का पहाड़ जैसा स्कोर खड़ा कर दिया था।
भारतीय गेंदबाजों खासकर स्पिनरों के महंगे प्रदर्शन ने भी दबाव बनाया तो मेजबान टीम की फीभल्डग भी बहुत खराब रही और कई मौकों पर कैच टपकाना भी उसे महंगा पड़ा। राजकोट में सबसे अनुभवी अश्विन 230 रन लुटाकर सबसे महंगे रहे और तीन विकेट ही निकाल सके जबकि जडेजा और मिश्रा भी कारगर साबित नहीं हुये।
दूसरी ओर इंग्लैंड के स्पिनर भारतीय परिस्थितियों में भी काफी सफल साबित हुये। आदिल राशिद ने भारत की दोनों पारियों में कुल सात विकेट चटकाये और भारतीय बल्लेबाजों को रोकने में कामयाब रहे। वहीं मैन आफ द मैच मोइन अली और जफर अंसारी ने भी मेजबान टीम को दबाव में ला दिया। यह देखना भी दिलचस्प होगा कि स्पिन मददगार विजाग की पिच पर भारतीय स्पिनर भारी पड़ते हैं या इंंग्लिश स्पिनर भारत को उसी के जाल में फंसाने में कामयाब रहते हैं।
वहीं इस पिच पर टॉस की भी अहम भूमिका मानी जा रही है। राजकोट में इंग्लैंड के कप्तान एलेस्टेयर कुक ने पहले बल्लेबाजी का सही निर्णय किया था। वहीं टीम के पदार्पण खिलाड़ी हसीब हमीद भी ‘सरप्राइज पैकेज’ साबित हुये थे और शतकधारियों जो रूट, मोइन अली और बेन स्टोक्स के साथ भारतीय गेंदबाजों के निशाने पर रहेेंगे। -एजेंसी