Matthew Wade : तीन गेंदों पर तीन छक्के लगाकर आस्ट्रेलिया को सेमीफाइनल में जीत दिलाने वाले विकेटकीपर बल्लेबाज मैथ्यू वेड इस मैच से पहले संन्यास लेने की सोच रहे थे, खराब फॉर्म बार-बार उन्हें इंटरनेशनल क्रिकेट छोड़ने पर मजबूर कर रही थी...16 साल की उम्र में कैंसर को दी थी मात

Samachar Jagat | Friday, 12 Nov 2021 05:11:32 PM
Matthew Wade : Wicketkeeper-batsman Matthew Wade, who led Australia to a semi-final victory with three sixes in three consecutive balls against Pakistan, was contemplating retirement before this match, with poor form repeatedly forcing him to quit international cricket...16 Cancer was defeated at the age of

स्पोर्ट्स डेस्क। आस्ट्रेलिया को पाकिस्तान के खिलाफ बेहद ही शानदार तरीके से एक ओवर पहले ही जीत दिलाने वाले विकेटकीपर बल्लेबाज मैथ्यू वेड कल रात पाकिस्तान के खिलाफ शाहीन शाह अफरिदी के 19वें ओवर की अंतिम तीन गेंदों पर तीन छक्के लगाने के बाद से ही दुनियाभर में सुर्खियों में छा गए हैं। सोशल मीडिया पर भी उनके जमकर गुणगान किया जा रहा है। मैथ्यू वेड ने जिस तरह से ताबड़तोड़ बल्लेबाजी कर पाकिस्तान के जबड़े से जीत छीन ली वो मौका हमेशा के लिए यादगार बन गया।

वेड ने जिस तरह अफरिदी को दो छक्के स्कूप शॉट खेलकर मारे वो देखने लायक थे। लेकिन इन सबके बीच मैथ्यू वेड कहीं न कहीं से फिर से ट्वेंटी-20 में टीम के मोस्ट फेवरेट बन गए हैं। हालांकि इस मैच से पहले वेड भी मानकर चल रहे थे कि ये उनका अंतिम ट्वेंटी-20 मैच हो सकता है क्योंकि पिछले कई समय से वे आउट आफ फॉर्म चल रहे थे। लेकिन अहम मौके पर उन्होंने शानदार बल्लेबाजी कर आस्ट्रेलियाई टीम के सलेक्टर्स का दिल जीत लिया है। वेड ने खुद कहा कि उन्हें लगने लगा था कि उनके अंतरराष्ट्रीय दिन अब खत्म हो गए हैं। लेकिन इस मैच के बाद सबकुछ बदल गया है। वेड ने कहा कि अब मुझे भी लगने लगा है कि मेरे अंदर अभी बहुत क्रिकेट बाकी है। 

मैथ्यू वेड इस मैच से पहले आस्ट्रेलिया टीम में लगातार संघर्ष कर रहे थे। 2017-18 एशेज ट्रॉफी के लिए भी आस्ट्रेलिया टीम में उनका चयन नहीं किया गया। तब उन्हें भी लगने लगा था कि शायद अब उनका समय खत्म हो चुका है। हालांकि खराब फॉर्म के चलते उन्होंने डोमेस्टिक लेवल विक्टोरिया टीम को छोड़कर एक बार से तस्मानिया के साथ घरेलू क्रिकेट खेला। तस्मानिया टीम के साथ उनका होम सीजन बेहद शानदार रहा और आखिरकार उन्हें 2019 में एक बार फिर से एशेज के लिए टीम में बतौर विकेटकीपर चुन लिया गया। एशेज सीरीज में इस दौरान उन्होंने दो शतक भी लगाए। वहीं तब से वे ट्वेंटी-20 टीम का भी हिस्सा बने हुए हैं। 

वेड को उनके धैर्य और दृढ़ संकल्प के लिए जाना जाता है। क्योंकि मात्र 16 साल की उम्र में वे कैंसर के शिकार हो गए थे। जिसके बाद उन्हें दो बार कीमोथैरेपी से भी गुजरना पड़ा। साथ ही मैथ्यू वेड एक बेहतरीन फुटबॉलर भी रहे हैं। स्कूलिंग के दौरान उन्होंने जूनियर लेवल पर फुटबॉल भी खेली है। वेड टेस्ट क्रिकेट में चार और वनडे में एक शतक लगा चुके हैं। वनडे क्रिकेट में उनके नाम 11 अर्धशतक भी हैं। वहीं ट्वेंटी-20 क्रिकेट में वेड ने 54 मैचों में तीन अर्धशतक जमाए हैं। 



 

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