मे साई। थाईलैंड के एक अधिकारी ने बताया कि बचाव दल बाढ़ग्रस्त गुफा में इंटरनेट केबल लगाने की कोशिशों में जुटे हैं ताकि माता-पिता वहां फंसे अपने बच्चों से बात कर सकें। डिपार्टमेंट ऑफ डिजास्टर प्रिवेंशन एंड मिटिगेशन के उप निदेशक कोर्बचई बूनोरना ने भी आज कहा कि बचावकर्मी गुफा के समीप कुओं से पानी निकालने की कोशिश कर रहे हैं ताकि गुफा के भीतर पानी का स्तर कम कर फुटबॉल टीम के 12 खिलाडिय़ों और कोच को निकाला जा सकें।
गुफा में फंसी टीम को एक बार में बाहर नहीं निकाला जा सकता : थाई अधिकारी
उन्होंने कहा कि लगातार पानी निकाला जा रहा है। जितना ज्यादा निकलेगा उतना बेहतर होगा। इससे पहले चिआंग राय प्रांत के गवर्नर नारोंगसक ओसातानाकोर्न ने कहा कि सभी लडक़ों को एक बार में ही एक साथ बाहर नहीं निकाला जा सकता। बाढ़ग्रस्त गुफा में फंसी फुटबॉल टीम के बचाव अभियान की निगरानी कर रहे थाई अधिकारी ने कहा ने कहा कि सभी 13 लोगों को एक ही बार में बाहर नहीं निकाला जा सकता।
अगर उनका स्वास्थ्य ठीक और व्यक्ति 100 फीसदी तैयार है तभी वह बाहर आ सकता है। अधिकारी टीम को गुफा से बाहर निकालने के बेहतर तरीके पर विचार कर रही है जिसमें गोताखारी भी शामिल है। थाई अधिकारी गुफा में फाइबर ऑप्टिक इंटरनेट लाइन लगाने के लिए नेवी सील के साथ काम कर रहे हैं।
संचार तकनीशियन फूवनार्त कीवदम ने बुधवार को कहा कि एक बार केबल लग जाएगी तो गुफा के भीतर फोन कॉल करना संभव होगा। अधिकारियों ने मंगलवार को भी इसकी कोशिश की थी लेकिन पानी के कारण उपकरण क्षतिग्रस्त हो गए। थाई नेवी द्वारा जारी ताजा वीडियो में लडक़ों और उनके कोच ने कहा कि वे ठीक हैं। नेवी गुफा में फंसे युवा फुटबॉल खिलाडिय़ों के वीडियो लगातार जारी कर रही है।
अधिकारियों ने बताया कि 12 लडक़ों और उनके कोच को गोताखोरी सिखाना उनको बाहर निकालने का एकमात्र तरीका हो सकता है लेकिन अन्य विकल्प भी तलाश किए जा रहे हैं। नारोंगसक ने बताया कि लडक़ों ने डाइविंग मास्क पहनने और सांस लेने का अभ्यास किया लेकिन उनका मानना है कि उन्होंने अभी तक गोताखोरी का कोई अभ्यास नहीं किया।
कैलाश मानसरोवर: हिल्सा से करीब 250 भारतीय तीर्थयात्रियों को सुरक्षित निकाला गया
गौरतलब है कि 11 से 16 वर्ष की आयु के ये खिलाड़ी और उनका 25 वर्षीय कोच 23 जून को फुटबॉल के एक मैच के बाद उत्तरी चिआंग राय प्रांत में थाम लुआंग नांग नोन गुफा देखने निकले थे और इसके बाद वे लापता हो गए थे। भारी बारिश की वजह से गुफा के जलमग्न होने से वे उसमें फंस गए थे। एक ब्रिटिश गोताखोर ने सोमवार रात को उन्हें ढूंढा था।