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इंटरनेट डेस्क। राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के सुप्रीमो और नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल का एक बयान सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है, जो उन्होंने 24 फरवरी की रात ओसियां के बैठवासिया गांव में चल रही श्रीमद भागवत कथा में भाग लेने के दौरान दिया था। इस दौरान हनुमान बेनीवाल ने ज्योति मिर्धा पर जमकर जुबानी प्रहार किया है।
खबरों के अनुसार, आरएलपी सांसद हनुमान बेनीवाल ने इस दौरान कहा था कि अलग-अलग पार्टियों के आठ-दस मुख्यमंत्री मेरे दोस्त हैं। आपका सम्मान मैंने कभी घटने नहीं दिया। इस दौरान आरएलपी सुप्रीमो ने बोल दिया कि अब वक्त आ गया है। मैं कब तक अकेला लड़ता रहूंगा,. मेरा काम यही तो नहीं रह गया कि मैं जिसे नेता बनाऊं वही छुरा लेकर मारने मेरे सामने कूद जाए।
उन्होंने कहा कि सौ से अधिक लोग मुझे छोडक़र भाग गए, कहीं न कहीं से ऑफर आ जाते हैं। कभी जातिवाद की लहर चलती है, वो जीतकर आ जाते हैं और हमें मारने के लिए हमारे ही लोग सामने आकर खड़े हो जाते हैं।
कांग्रेस उम्मीदवार ज्योति मिर्धा को सांसद बनने में मदद की थी
ओसियां के बैठवासिया गांव में चल रही श्रीमद भागवत कथा के दौरान हनुमान बेनीवाल ने कहा कि ज्योति मिर्धा का परिवार राजनीतिक हत्या करके रिछपाल मिर्धा खुद नाथूराम का उत्तराधिकारी बन गया था। इसके बाद डीडवाना के विधायक से बात कर मैंने कहा था कि नया उम्मीदवार खड़ा करो। इसके बाद ज्योति मिर्धा का नाम मेरे सामने रखा गया, मैंने मंजूरी दी। वहीं उन्होंने इस दौरान ये भी बोल दिया कि उस समय भारतीय जनता पार्टी में होते हुए भी कांग्रेस उम्मीदवार ज्योति मिर्धा को सांसद बनने में मदद की थी। जब ज्योति मिर्धा ने मेरा विरोध शुरू किया।
PC: dailypioneer
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