मैनपुरी। उत्तर प्रदेश के मैनपुरी में करीब ढाई साल पहले पत्नी और बेटी की बेरहमी से पीट-पीटकर हत्या करने वाले अभियुक्त को एक स्थानीय अदालत ने फांसी की सजा सुनाई। इसके अलावा उसपर 45 हजार रुपए का अर्थ दण्ड लगाया है।
अभियोजन पक्ष के मुताबिक जिले के कुर्रा क्षेत्र में रूपपुर निवासी बाबूराम के पुत्र सोबरन सिंह का विवाह करीब 15 वर्ष पूर्व फर्रूखाबाद की ममता के साथ हुआ था। सोबरन सिंह शराब पीने का आदी था। शराब पीने को लेकर अक्सर परिवार में विवाद होता था।
गत 29 जून 2014 की रात सोबरन सिंह शराब लेकर घर आया था। शराब पीने के बाद उसका किसी बात पर अपने पिता से विवाद हो गया था। जिस कारण सोबरन ने अपने पिता बाबूराम की पिटाई कर दी थी। यह बात सोबरन की पत्नी ममता को नागवार गुजरी और उसने विरोध किया।
उसके बाद बाबूराम अपनी पत्नी के साथ झोपड़ी से बाहर चला गया। इस बीच सोबरन का नशा कुछ कम हुआ तो उसने अपनी पत्नी से शराब के लिए रूपये मांगे। पत्नी और बेटी सपना ने शराब के लिए रुपए देने से इनकार कर दिया। इस पर सोबरन आग बबूला हो गया था। बहरहाल ममता ने उसे सौ रुपए दे दिए और कुछ रुपए थे जो उसने अपनी बेटी सपना को रखने के लिए दे दिए।
इसी बीच सोबरन बेटी को खींचकर खेत में ले गया, जहां उसे पीट-पीटकर अधमरा कर दिया। सोबरन अर्द्ध मूछित सपना को गोद मे लेकर दरवाजे के पास आया और वहीं उसे जमीन पर पटक दिया। इतने में भी जब सपना के प्राण नहीं निकले तो हत्यारे पिता ने बेटी के गले को पैर से रौंदकर उसकी जान ले ली। इस बीच उसने ममता को ईट-पत्थरों और डण्डों से पीटना शुरू कर दिया।
जिससे उसकी भी मृत्यु हो गई। इस मुकदमें में अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश गुरूप्रीत सिंह बाबा ने कल अभियुक्त सोबरन को फांसी की सजा सुनाते हुए उसपर 45 हजार रुपए का अर्थदण्ड भी लगाया गया है।
जुर्माने की धनराशि में से 20 हजार रुपए मृतका के परिजनों को देने के निर्देश दिए हैं। निर्णय की पुष्टि के लिए अदालत ने पत्रावली एक माह के अंदर उच्च न्यायालय भेजे जाने के निर्देश भी दिए हैं। अभियुक्त भी निर्णय के विरोध में उच्च न्यायालय में शरण ले सकता है।