राजकोट। 1000 और 500 रुपऐ के पुराने नोट बंद होने के बावजूद भी भ्रष्टाचार की लगाम नहीं लग पाई है। भ्रष्टाचार निरोधी ब्यूरो ने कंडाला बंदरगाह के 2 अधिकारियों को पकड़ा है। इन अधिकारियों के साथ-साथ उनके बिचौलियों को भी गिरफ्तार किया गया है। एसीबी ने उनके पास से 4.4 लाख रुपये की रिश्वत भी बरामद की है। पूरे मामले में सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि बरामद की गई पूरी रकम 2,000 के नए नोटों में थी। आरोपियों ने यह रिश्वत एक निजी फर्म के पेंडिंग पड़े बिलों को पास करवाने के लिए ली थी। यह फर्म बंदरगाह पर लगे हाइटेंशन तारों की देखरेख का काम करती है।
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एसीबी के सूत्रों ने बताया कि इतनी बड़ी संख्या में नए नोट्स कहां से आए, इसकी पूरी जानकारी शिकायत दर्ज किए जाने के बाद ही मालूम चल सकेगी। मंगलवार रात एसीबी ने सुपरिटेंडेंट इंजिनियर श्रीनिवासु, सबडिविजनल अधिकारी अनंतराव कुमतेकर और कंट्रैक्टर रुद्रेश्वर सुनामुदी को गिरफ्तार किया। कंट्रैक्टर सुनामुदी दोनों अधिकारियों के बीच बिचौलिये का भी काम करता था।
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श्रीनिवासु और कुमतेकर ने निजी फर्म के मालिक से उसके 57 लाख रुपये मूल्य के पेंडिंग पड़े बिलों को पास करने के एवज में 4 लाख रुपयों की मांग की थी। मंगलवार रात एसीबी को इस मामले में एक शिकायत मिली थी। इसके बाद आरोपियों को पकडऩे के लिए एसीबी ने जाल बिछाया और उन्होंने रुद्रेश्वर को 4 लाख की रिश्वत लेते हुए पकड़ा।
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रुद्रेश्वर द्वारा दी गई जानकारी के बाद एसीबी ने दोनों अधिकारियों के घरों पर छापा मारकर उन्हें गिरफ्तार कर लिया। उनके घरों की तलाशी के दौरान अधिकारियों को कुमतेकर के घर से 40,000 रुपये नकद और 2.75 लाख मूल्य के सोने के गहने मिले।
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