इंटरनेट डेस्क। राजस्थान में कांग्रेस सरकार द्वारा बिजली बिलों पर लगाए गए फ्यूल सरचार्ज को लेकर लगातार राजनीति हो रही है। भारतीय जनता पार्टी के राजस्थान अध्यक्ष सतीश पूनियां ने आज मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि पेट्रोल-डीज़ल के दाम कम करने के बाद बिजली के दाम बढ़ाना ऐसा है जैसे एक तरफ दिया तो दूसरी ओर से जनता से वापस ले लिया। राजस्थान में भारतीय जनता पार्टी के चीफ पूनिया ने कहा कि मुख्यमंत्री कौन सी अंकगणित और अर्थशास्त्र से काम कर रहे हैं, ये समझ नहीं आ रहा। राजस्थान के लोगों को बिजली की मार ज़्यादा पड़ रही है।
एएनआई न्यूज एजेंसी के अनुसार, राजस्थान में अगले तीन महीने बिजली के बिलों में बढ़ोतरी होगी। दरअसल राज्य सरकार ने बिजली उपभोक्ताओं पर फ्यूल सरचार्ज लगाया है। ये फ्यूल सरचार्ज अप्रेल 2021 से जून 2021 तक 33 पैसे प्रति यूनिट के हिसाब से अतिरिक्त जोड़ा जाएगा। मतलब अब राजस्थान के लोगों को अगले तीन महीनों तक ज्यादा बिजली बिल चुकाना होगा। एक रिपोर्ट में कहा गया है कि फ्यूल सरचार्ज के नाम पर राज्य सरकार अगले तीन महीनों में राज्य के लोगों से 550 करोड़ से ज्यादा रकम वसूल करेगी।
हालांकि राज्य में बिजली बिल पर फ्यूल सरचार्ज लगाने के बाद विपक्ष में बैठी भारतीय जनता पार्टी के नेताओं ने इसका विरोध शुरू कर दिया है। राजस्थान बीजेपी अध्यक्ष सतीश पूनिया द्वारा लगातार उठाई जा रही आपत्तियों पर राज्य के ऊर्जा मंत्री बी.डी कल्ला ने आज गुरुवार को मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि बिजली में अतिरिक्त शुल्क 33 पैसे सेंट्रल इलेक्ट्रिसिटी एक्ट के तहत बनाए गए नियामक आयोग ने बढ़ाए हैं। मैंने सतीश पूनिया को कहा, आपको आपत्ति है तो नियामक आयोग से अतिरिक्त शुल्क कम करने की अपील करें।